किशनगंज – केंद्र सरकार के गृह मंत्रालय के निर्देश पर 7 मई 2025 को पूरे देश में आयोजित की जा रही सिविल डिफेंस मॉक ड्रिल–2025 के तहत किशनगंज जिले में भी बड़े पैमाने पर तैयारी की गई है। इस मॉक ड्रिल का उद्देश्य आपातकालीन स्थितियों, विशेषकर हवाई हमलों जैसी आपदाओं से नागरिकों को जागरूक करना और उन्हें तैयार करना है।

प्रेस ब्रीफिंग में दी गई जानकारी
इस विषय पर सोमवार को समाहरणालय स्थित कार्यालय कक्ष में जिलाधिकारी श्विशाल राज और पुलिस अधीक्षक सागर कुमार की संयुक्त अध्यक्षता में एक प्रेस ब्रीफिंग आयोजित की गई। जिलाधिकारी ने बताया कि आज शाम 7:00 बजे से 7:10 बजे तक पूरे जिले में ब्लैकआउट किया जाएगा।
इस दौरान जिला कारा, न्यायालय, बैंक और अन्य महत्वपूर्ण सरकारी प्रतिष्ठानों पर सायरन बजाए जाएंगे, जबकि जहां सायरन की व्यवस्था नहीं है, वहां वाहनों के माध्यम से चेतावनी ध्वनि प्रसारित की जाएगी।

जनता से की गई अपील
जिलाधिकारी ने नागरिकों से अपील की कि वे अफवाहों पर ध्यान न दें, पैनिक की स्थिति न बनाएं और तय समय पर अपने घरों और वाहनों की लाइटें एवं इंजन बंद रखें। उन्होंने इस मॉक ड्रिल को राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा अहम अभ्यास बताते हुए कहा कि इसका उद्देश्य किसी भी संकट की स्थिति में त्वरित प्रतिक्रिया की क्षमता का परीक्षण करना है।
पुलिस अधीक्षक सागर कुमार ने बताया कि ऑपरेशन ब्लैकआउट के तहत सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए गए हैं। संवेदनशील क्षेत्रों में पुलिस बल की तैनाती सुनिश्चित कर दी गई है और प्रशासन पूरी तरह सतर्क है।

प्रशिक्षण और जागरूकता कार्यक्रम भी होंगे आयोजित
इस मॉक ड्रिल के तहत जिला प्रशासन द्वारा सायरन की जांच, स्कूली बच्चों एवं आम नागरिकों को प्रशिक्षण, छलावरण तकनीक (camouflage) का प्रदर्शन, ब्लैकआउट अभ्यास और निकासी योजनाओं का परीक्षण जैसे कार्यक्रम भी आयोजित किए जाएंगे।
एक जिम्मेदार नागरिक बनें: प्रशासन
प्रशासन ने आम जनता से अपील की है कि वे इस अभ्यास में सक्रिय भागीदारी करें और एक जिम्मेदार नागरिक का परिचय दें। इससे न केवल प्रशासन को अपनी तैयारियों का मूल्यांकन करने में मदद मिलेगी, बल्कि नागरिकों में आपदा प्रबंधन की समझ और सतर्कता भी बढ़ेगी।
निष्कर्ष: किशनगंज में होने वाला यह मॉक ड्रिल न केवल एक प्रशिक्षण कार्यक्रम है, बल्कि यह देश के नागरिकों की आपदा के प्रति सजगता और सहयोग की भावना को परखने और बढ़ावा देने का एक महत्वपूर्ण कदम भी है। प्रशासन की उम्मीद है कि जनता इसमें पूरे अनुशासन और सहयोग के साथ भाग लेगी।