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 तेजस्वी यादव सरकार और चुनाव आयोग पर बरसे

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अररिया: नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव ने सोमवार को अररिया में प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बिहार सरकार और चुनाव आयोग पर तीखा हमला बोला। उन्होंने आरोप लगाया कि विधानसभा चुनाव से ठीक पहले केवल 25 दिनों में किए गए विशेष गहन मतदाता सूची पुनरीक्षण में भारी गड़बड़ी हुई है और गरीबों को इससे बाहर करने की साजिश हो रही है। तेजस्वी ने चुनाव आयोग को “गोदी आयोग” बताते हुए कहा कि महागठबंधन इस फैसले के खिलाफ आवाज़ उठाता रहेगा।

तेजस्वी ने कहा कि मतदाता सूची में नाम जोड़ने के लिए 11 दस्तावेज़ों की मांग की गई, जो कि गरीबों के पास नहीं होते। उनका आरोप है कि यह प्रक्रिया गरीबों और वंचित तबकों को चुनावी प्रक्रिया से दूर रखने की कोशिश है। उन्होंने कहा कि सरकार पहले वोटर लिस्ट से नाम हटाने में लगी है, फिर राशन, पेंशन और अंततः लोकतंत्र को खत्म करने की मंशा रखती है।

 तेजस्वी यादव सरकार और चुनाव आयोग पर बरसे
तेजस्वी यादव सरकार और चुनाव आयोग पर बरसे

कानून व्यवस्था और अपराध पर हमला

तेजस्वी यादव ने बिहार की बिगड़ती कानून व्यवस्था पर चिंता जताई। उन्होंने कहा कि “एक सप्ताह में 100 से ज्यादा हत्याएं हो चुकी हैं। एम्बुलेंस में बलात्कार, दुकानों और अस्पतालों में घुसकर हत्याएं हो रही हैं, लेकिन मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अचेत अवस्था में हैं।” उन्होंने सत्ताधारी डबल इंजन सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि एक इंजन अपराध में और दूसरा इंजन भ्रष्टाचार में लगा हुआ है।

 तेजस्वी यादव सरकार और चुनाव आयोग पर बरसे
तेजस्वी यादव सरकार और चुनाव आयोग पर बरसे

भ्रष्टाचार और घोटाले पर आरोप

तेजस्वी ने सीएजी की रिपोर्ट का हवाला देते हुए कहा कि 71,000 करोड़ रुपये का घोटाला सामने आया है, लेकिन बिहार सरकार इसका कोई जवाब नहीं दे पा रही है। उन्होंने उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी पर भी हमला बोला, और उनके शैक्षणिक दस्तावेज़ों को लेकर सवाल उठाए। तेजस्वी ने कहा, “सम्राट चौधरी कभी उम्र बढ़ा लेते हैं, कभी घटा लेते हैं। बिना मैट्रिक किए पीएचडी करने का दावा करते हैं। यह सब फर्जीवाड़ा है।”

 तेजस्वी यादव सरकार और चुनाव आयोग पर बरसे
तेजस्वी यादव सरकार और चुनाव आयोग पर बरसे

‘डॉगी बाबू’ का प्रमाण पत्र बना चुटकी का कारण

तेजस्वी यादव ने सरकारी सिस्टम की कार्यशैली पर सवाल उठाते हुए तंज कसा कि अब तो डॉगी (कुत्ते) को भी आवासीय प्रमाण पत्र मिल रहा है। उन्होंने कहा कि यह पहला मामला नहीं है, इससे पहले सनी लियोनी और खुद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नाम से भी फर्जी प्रमाण पत्र जारी हो चुके हैं।

निष्कर्ष:

तेजस्वी यादव का अररिया दौरा पूरी तरह से सरकार और चुनाव आयोग की आलोचना पर केंद्रित रहा। उन्होंने जनता के अधिकारों, मतदाता सूची की पारदर्शिता और कानून व्यवस्था जैसे मुद्दों को उठाकर आगामी चुनावों में महागठबंधन की रणनीति का संकेत दे दिया है।

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